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उधमसिंह नगर

कारगिल विजय दिवस पर शहीद को किया नमन।1999 में हुए कारगिल युद्ध में 527 युद्धाओं ने दिया था बलिदान। उत्तराखंड के 75 शहीदों में ऊधमसिंहनगर के दो लाल भी थे, शामिल

नरेन्द्र राठौर
रुद्रपुर (खबर धमाका)। – सन् 1999 मे हुए कारगिल युद्ध के षहीदो की स्मृति मे कारगिल विजय दिवस को षौर्य दिवस के रूप मे पुलिस लाइन स्थित षहीद स्मारक स्थल मे श्रद्धापूर्वक मनाया गया। इस अवसर पर क्षेत्रीय विधायक शिव अरोरा, मेयर रामपाल सिंह, जिलाधिकारी उदयराज सिंह, मुख्य विकास अधिकारी विषाल मिश्रा, एसएसपी मन्जूनाथ टीसी, पूर्व विधायक राजेष शुक्ला, पूर्व दर्जा राज्यमंत्री सुरेष परिहार, एसपी सिटी मनोज कत्याल, उपजिलाधिकारी मनीश बिश्ट, जिला सैनिक कल्याण अधिकारी आरएस धपौला, पुलिस विभाग एवं विभिन्न विभागो के अधिकारियो, जनप्रतिनिधियो व भूतपूर्व सैनिको द्वारा कारगिल युद्ध मे षहीद हुए जनपद के हवलदार पदम राम व राइफलमैन अमित नेगी के चित्रो पर पुश्पचक्र अर्पित किये।
        इस अवसर पर जिलाधिकारी ने कारगिल दिवस के षहीदो को कोटि-कोटि नमन करते हुए कहा कि सैनिक कठिन व विशम भौगोलिक परिस्थितयो मे भी सीमाआंे पर देष की रक्षा कर रहे है, हम उनके परिजनो को सम्मान दें साथ ही सैनिको का कोई भी कार्य हो उसे प्राथमिकता से पूर्ण करना चाहिये। जिन वीर सैनिको ने देष की रक्षा करते हुए अपने प्राण न्यौछावर किये, उन्हंे याद करने के साथ उनकी कुर्बानी को भी याद रखना चाहिये। उन्होने कहा वीर षहीदो के परिवारो के प्रति हमारा जो दायित्व बनता है, उसे हमे पूरा करना चाहिये ताकि वे अपने को गौरवान्वित महसूस करें यही उन वीर सपूतो को जिन्होने देष की रक्षा के लिये अपने प्राणों की आहूती दी उनको सच्ची श्रद्धांजली होगी।
       क्षेत्रीय विधायक षिव अरोरा ने कहा कि कारगिल दिवस को षौर्य दिवस के रूप में मनाते हैं, यह देष के सैनिकों के षौर्य एवं अदम्य साहस का प्रतीक है।  कारगिल युद्ध में राज्य तथा देष के वीर सपूतों ने अपने अदम्य साहस की जो इबारत लिखी वह भारतीय सेना के इतिहास का गौरवशाली हिस्सा है। कारगिल में टोलोलिंग पर्वत चोटी से लेकर द्रास सेक्टर तक दुश्मनों को परास्त करने में उत्तराखण्ड के 75 वीर सपूतों ने अपने प्राणों की आहुति दी। इस युद्ध में जनपद ऊधमसिंह नगर के दो वीर सपूतों, हवलदार पदम राम तथा राइफलमैन अमित नेगी, ने अपने प्राणों का बलिदान दिया। उन्होने कहा कि भौगोलिक व मौसम की विशम परिस्थितियों में देष के सैनिको का षौर्य, साहस और संघर्श की क्षमता के आधार पर देष विजयी हुआ। उन्होने कहा कि यह भारत के इतिहास की बहुत बड़ी विजय है, हम सब के लिए गर्व का दिन है। आज पूरा देष अपने 527 षहीद सैनिको की षहादत पर गर्व कर रहा है और जो सैनिक आज सीमाओं पर हमारी सुरक्षा कर रहे है, हमारी स्वतन्त्रता को निरन्तर अक्षुण बनाये हुए है उनके प्रति आज का दिन समर्पण का दिन है। उन्होने कारगिल विजय दिवस की षुभकामनाऐं दी।
      जिला सैनिक कल्याण अधिकारी आरएस धपौला ने बताया कि सन् 1999 मे हुए कारगिल युद्ध के कारणो एवं कारगिल मिषन पर विस्तार से प्रकाष डाला। उन्होने कहा कारगिल युद्ध मे भारतीय सेना ने अपने अदम्य साहस का प्रदर्षन करते हुए कारगिल युद्ध को जीता। उन्होने बताया इस युद्ध मे देष के 527 जवान षहीद हुए जिसमे प्रदेष के 75 व जनपद के 02 जवान षामिल है। इस युद्ध मे देष के 1300 जवान घायल हुए। उन्होने बताया कि इस युद्ध मे षहीद हुए जवानो की स्मृति मे प्रत्येक वर्श 26 जुलाई को कारगिल दिवस षौर्य दिवस के रूप मे मनाया जाता है।
      षौर्य दिवस के अवसर पर जनपद में षिक्षण संस्थाओं द्वारा कारगिल युद्ध/देष भक्ति से सम्बन्धित चित्रकला, निबन्ध एवं कविता पाठ एवं खेल विभाग द्वारा आयोजित क्रास कन्ट्री प्रतियोगिताओं में स्थान प्राप्त करने वाले प्रतिभागियों को पुरस्कृत किया गया।
      कार्यक्रम में उपाध्यक्ष जिला सैनिक परिशद आरपी सिंह, यूएस चौहान, सदस्य राज्य सैनिक परिशद खड़क सिंह कार्की, अध्यक्ष पूर्व सैनिक जिला लीग मेजर उपाध्याय,
अन्य लोग उपस्थित थे।
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