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पढे,रुद्रपुर के किस फर्जी डाक्टर को कोर्ट ने सुनाई सात वर्ष की सजा।गलत आप्रेशन से महिला की हुई थी मौत

नरेन्द्र राठौर 
रुद्रपुर(खबर धमाका)। गलत आपरेशन कर महिला की मृत्यु कारित करने वाले फ़र्ज़ी डॉक्टर को तृतीय अपर ज़िला एवं सत्र न्यायाधीश मीना देउपा ने 7 वर्ष के कठोर कारावास और 1 लाख 10 हज़ार रुपये जुर्माने की सज़ा सुना दी । सहायक ज़िला शासकीय अधिवक्ता लक्ष्मी नारायण पटवा ने बताया है कि शिमला बहादुर ट्रॉजिट कैम्प निवासी ओमप्रकाश ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि वह मूल रूप से बैरिया पश्चिम टीला थाना बैरिया ज़िला बलिया (यूपी) के रहने वाले हैं पर पिछले 30 सालों से यही रहते हैं ।मेरी पत्नी आशा वर्कर है उसकी डॉक्टरों से जान पहचान होने के कारण वह अपनी बीमार माता  लक्ष्मी देवी को यहाँ ले आया चूँकि माता जी के पित्ताशय की थैली में पथरी थी ।उनका पार्थ पैथोलॉजी में अल्ट्रासाउंड कराया जिसके बाद दोपहर क़रीब दो बजे रूद्रा होटल के पास शिवानी सर्जिकल हॉस्पिटल में दिखाने गये तो वहाँ पर मौजूद डॉक्टर भानुपरताप ने रिपोर्ट देखकर कहा कि पथरी बहुत बडी है आज ही आपरेशन कराओ ।मैंने कहा कि अभी मेरी पत्नी को पोलियो ड्रॉप पिलाने जाना है हम शनिवार को आपरेशन करा पाएँगे तो डॉक्टर ने कहा कि तुरंत कराओ इसमें कोई समस्या नहीं है और उन्होंने मेरी माता जी को तुरंत स्टैच्रर पर लिटाकर बोतल चढ़ा दी तथा मेरी पत्नी व छोटे भाई प्रेम प्रकाश से कुछ काग़ज़ातो पर हस्ताक्षर करवा कर माता जी को आपरेशन के लिए अन्दर ले गए फिर कुछ देर बाद आकर कहा कि खून का इन्तज़ाम करो पर हमें माता जी से मिलने नहीं दिया गया ।हमने कहा कि हम खून की व्यवस्था करते हैं डॉक्टर भानुपरताप ने कहा कि सुशीला तिवारी अस्पताल हल्दवानी में फ़्री खून मिल जायेगा हमने तुम्हारी माता जी को हल्दवानी रैफर कर दिया है और अपने आदमियों से माता जी को एम्बुलेंस में डालकर बोले कि अब इनको फटाफट हल्दवानी ले जाओ ।जब हम माता जी को एम्बुलेंस में हल्दवानी ले जा रहे थे तो मैंने व पत्नी ने माँ का हाथ छूकर देखा तो हाथ-पैर ठण्डे पड़ चुके थे यह देख हम उन्हें तुरंत ज़िला अस्पताल रूद्रपुर ले गए जहां डॉक्टरों ने चैक कर बताया कि इनकी तो मौत हो चुकी है ।ओमप्रकाश ने कहा कि डॉक्टर भानुपरताप ने ग़लत तरीक़े से मेरी मॉ का आपरेशन कर उनकी मृत्यु कर दी है ।हमें सरकारी अस्पताल में कुछ लोगों ने बताया कि भानुपरताप कोई डॉक्टर नहीं है और ना ही उसके पास कोई डॉक्टर सम्बंधित डिग्री है वह डॉक्टर बनकर लोगों से फ़र्ज़ीवाडा कर डॉक्टर बनकर इलाज और आपरेशन करता है ।आरोप लगाया कि यह झोलाछाप डॉक्टर भानुपरताप जिसने बेरहमी व लापरवाही से मेरी मॉ की मृत्यु कारित की है उसके व उसके सहकर्मियों के विरूद्ध मुक़दमा दर्ज कर कडी कानूनी कार्यवाही करते हुए कड़ी से कड़ी सजा दी जाये । पुलिस ने फ़र्ज़ी डॉक्टर भानुपरताप के विरूद्ध मुक़दमा दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी,पुलिस द्वारा मृतका के ब्लाउज़ व आपरेशन करने वाले उपकरणों की फारेनिसक जॉच कराई तो उनका डीएनए मृतका से मैच हो गया जिसके बाद पुलिस ने आरोपी डॉक्टर भानुपरताप के विरूद्ध चार्जशीट कोर्ट में दाखिल कर दी ।उसके विरूद्ध तृतीय अपर ज़िला एवं सत्र न्यायाधीश मीना देउपा की कोर्ट में मुक़दमा चला जिसमें सहायक ज़िला शासकीय अधिवक्ता लक्ष्मी नारायण पटवा ने 11 गवाह पेश कर आरोप सिद्ध कर दिया जिसके बाद गुरुवार को न्यायाधीश मीना देउपा ने भानुपरताप को दोषी करार देते हुए धारा 304(ll) में सात वर्ष के कठोर कारावास और एक लाख रुपये जुर्माने तथा धारा 420 में तीन वर्ष के कठोर कारावास और दस हज़ार रुपये जुर्माने की सज़ा सुना दी साथ ही कहा कि जुर्माने की धनराशि में से पचास हज़ार रुपये मृतका लक्ष्मी देवी के परिजनों को बतौर प्रतिकर अदा किया जाय।
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