व्यापार मंडल चुनाव,नेताओं की बड़ी धड़कने!खुलेआम न सही,अंदरखाने बड़े-बड़े सफेदपोश है पूरी तरह सक्रिय।पढे, किसकी जीत पर कौन मनायेंगे जश्न
नरेन्द्र राठौर
रुद्रपुर (खबर धमाका)। रुद्रपुर में प्रांतीय उघोग व्यापार मंडल का चुनाव चार फरवरी को होने है,शाम तक इसका परिणाम भी आ जायेगा। लेकिन जीत किसकी होगी यह व्यापारियों से ज्यादा राजनीति से जुड़े लोगों के लिए प्रतिष्ठित का सवाल बन गई है। और जीत के बाद यह भी साफ हो जायेगा की जश्न कौन मना रहा है।
वैसे रविवार को होने वाले चुनाव से पहले अध्यक्ष पद पर संजय जुनेजा की ताजपोशी तय है, क्योंकि उनके समाने कोई दावेदार नहीं है, लेकिन महामंत्री और कोषाध्यक्ष पद पर मुकाबला कड़ा है, खासकर के महामंत्री पद चुनाव व्यापारियों से ज्यादा सफेदपोश के लिए प्रतिष्ठित का सवाल है, इसकी खास बजह भी है।
जैसा कि आप जानते हैं कि वर्तमान महामंत्री हरीश अरोड़ा पूर्व मंत्री और किच्छा के विधायक तिलक राज बेस्ड के संमधी है। बेहड के पुत्र सौरभ को खुद उन्हें चुनाव लड़ाते देखा गया है, इसके अलावा रुद्रपुर विधायक भी अंदरखाने उन्हें सपोर्ट कर रहे हैं,यह कहा जा रहा है। माना तो यह भी जा रहा कि अध्यक्ष संजय जुनेजा की मूक स्वीकृत कहीं न कहीं उनके साथ है। यानी की दो विधायक की आस्था कहीं न कहीं हरीश के साथ जुड़ी है। इधर हरीश के समाने खड़े हुए मनोज छाबड़ा को ठुकराल गुट का माना जा रहा है। बताया जा रहा कि मनोज के लिए ठुकराल और उनके करीबी अंदरखाने पूरा सर्पोट कर रहे हैं। बताया जा रहा कि कांग्रेस का समर्थन भी उन्हें मिला हुआ है। शुक्रवार को गाबा कैंप कार्यालय पर हुई बैठक के दौरान कांग्रेस के दो विधायक भी उन्हें जीत का आर्शीवाद दे गए हैं। यानी की मनोज छाबड़ा भी भी राजनीतिक सर्पोट में पीछे नहीं है।
इधर कोषाध्यक्ष पद की बात करे तो इस पद पर तीन प्रत्याशी मैदान में हैं। शुरुआत में इस पद पर मुकाबला त्रिकोणीय था लेकिन अब मुकाबला पल्ली गाबा बनाम संदीप राव हो चुका है। पल्ली यूं तो कांग्रेसी और हरीश अरोड़ा-संजय जुनेजा खेमे के मानें जाते हैं, पल्ली को भी स्थानीय और किच्छा के विधायक का सर्पोट मिला है,इसकी चर्चा है,लेकिन संदीप राव उनपर भारी नजर आ रहे हैं, इसके पीछे भी ठुकराल की चाणक्य नीति काम कर रही है। बताया जा रहा है मनोज की तरह संदीप को भी ठुकराल और कांग्रेस का साथ मिला हुआ है।
ऐसे में हार और जीत किसकी होगी यह तो परिणाम के बाद ही साफ होगा। लेकिन किसकी जीत कौन जश्न मनाया और कौन मजबूत होगा यह साफ है। माना यह भी जा रहा कि जीत के बाद शहर में विजय जुलूस निकाला जायेगा।