रेलवे आरक्षित ई-टिकटों के अवैध कारोबार में तीन गिरफ्तार। पूर्वोत्तर रेलवे, इज्जतनगर मंडल के सुरक्षाबलों ने चलाया अभियान। किच्छा का मकबूल मुंबई में बैठकर करता है, टिकटों की दलाली
नरेन्द्र राठौर
रुद्रपुर (खबर धमाका)। इज्जततनगर मंडल पर रेलवे सुरक्षा बल द्वारा निरंतर चलाये जा रहे अवैध टिकट जाँच अभियान के तहत रेलवे सुरक्षा बल/सी.आई.बी., इज्जतनगर; रेलवे सुरक्षा बल पोस्ट, लालकुआँ और रेलवे सुरक्षा बल चैकी बहेड़ी स्टाफ मुखबिर की खास सूचना पर बहेड़ी रेलवे स्टेशन के मुख्य प्रवेश द्वार के सामने स्थित दुकान एफ.एस. इंटरनेट प्वाइंट पर छापा मारकर दुकान के संचालक फरीद अहमद पुत्र सद्दीक अहमद (33 वर्ष), वार्ड संख्या 16, इस्लामनगर, थाना-बहेड़ी, जिला-बरेली; जय किशन पुत्र सोनपाल (26 वर्ष) एवं सैकी बाबू पुत्र स्व. श्याम बाबू (24 वर्ष), निवासी सिमरा, थाना बहेड़ी, जिला बरेली को रेलवे आरक्षण काउंटर, बहेड़ी से बने हुए 2 अद्द तत्काल टिकट व आई.आर.सी.टी.सी. की पर्सनल यूजर आई.डी. पर ई-टिकट बनाकर रेलवे आरक्षित काउंटर टिकटों तथा ई-टिकटों का संयुक्त टीम ने रेलवे आरक्षित ई-टिकटों का अवैध कारोबार करने वाली आईडियों की जाँच के दौरान पर्सनल यूजर आईडी का प्रयोग कर रेलवे आरक्षित ई-टिकट बनाने के जुर्म में गिरफ्तार किया गया।
बरामद टिकटों, जिनमें काउंटर तत्काल टिकट 2 अद्द, जिनकी कीमत रु. 11500/-(ग्यारह हजार पाँच सौ रुपये मात्र) एवं ई-टिकट 1 अद्द जिनकी कीमत रु. 545/-(पाँच सौ पैतालीस रुपये मात्र) यात्रा की जानी थी। ई-टिकट 4 अद्द कीमत रु. 5,912/-(पाँच हजार नौ सौ बारह रुपये मात्र) प्राप्त हुए जिनसे यात्रा की जा चुकी थी। अपराध में प्रयुक्त उपकरण 02 अद्द लैपटाप, 03 अद्द मोबाईल, 1 डोंगल तथा कुल रु. 17000/- (सत्रह हजार रुपये मात्र) नगद प्राप्त हुए।
एक दलाल मकबूल निवासी किच्छा, जिला उधम सिंह नगर (उत्तराखण्ड) जो वर्तमान में मुंबई में रहकर टिकट दलाली का कार्य कर रहा है, को प्राप्त साक्ष्यों, व्हाट्स एप चैट व फोन-पे के माध्यम से भुगतान आदि के आधार पर वांछित किया गया है। रेलवे आरक्षण काउंटर पर लाइन लगाकर तत्काल टिकट व आई.आर.सी.टी.सी. की व्यक्तिगत आई.डी. पर ई-टिकट बनाकर तथा अंतर्राज्यीय दलाल से टिकट बनवाकर व्हाट्स एप पर मंगाकर जरुरत मंद ग्राहकों से टिकट के दाम से प्रति टिकट रुपये 400 से रु. 500 तक अधिक लेकर बेचते थे।
अपराध का पंजीकरण रेलवे सुरक्षा बल पोस्ट, बरेली सिटी पर धारा-143 रेल अधिनियम के अन्तर्गत पंजीकृत किया गया।