साइबर अपराध के खिलाफ,सही जानकारी ही बचाव,सीडीओ। सुरक्षित इंटरनेट दिवस पर एनआईसी के माध्यम से कार्यशाला का आयोजन। कर्मचारियों व छात्र-छात्राओं को सुरक्षित इंटरनेट उपयोग की दी जानकारी।
नरेन्द्र राठौर (खबर धमाका)। इलैक्ट्रॉनिक एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय भारत सरकार तथा जिलाधिकारी नितिन सिंह भदौरिया के निर्देशों के क्रम में मुख्य विकास अधिकारी मनीष कुमार की अध्यक्षता में एन.आई.सी.(नेशनल इंफोर्मेटिक्स सेंटर) के एक्सपटर््स द्वारा सुरक्षित इंटरनेट दिवस पर कार्यशाला का आयोजन कलेक्ट्रेट सभागार में किया गया। मुख्य विकास अधिकारी ने कहा कि इस कार्यशाला का उद्देश्य सुरक्षित, नैतिक और जिम्मेदार इंटरनेट उपयोग को प्रोत्साहित करने और साइबर सुरक्षा खतरों और समाधानों के बारे में संवेदनशील बनाना व जागरूकता बढ़ाना है।
https://www.facebook.com/share/v/1BQPM34FfT/
https://www.facebook.com/share/v/18bNZT3U2W/
https://www.facebook.com/share/v/1D7qTfec7H/
ऊपर दिए गए लिंक में इंटरनेट कार्यशाला को लेकर जानकारी देते सीडीओ मनीष कुमार
मुख्य विकास अधिकारी ने कहा कि इंटरनेट ही एकमात्र ऐसा माध्यम है जहां आप अनेक विषयों पर हर प्रकार की जानकारी प्राप्त कर सकते हैं, इंटरनेट दुनिया को जोड़ता है और सीखने, सामाजिक संपर्क और व्यापार के अनगिनत अवसर प्रदान करता है। इसने हमारे जीवन को काफी सुविधाजनक बना दिया है लेकिन साथ ही हमें साइबर अपराधों के खतरों से भी अवगत कराया है, जोखिमों से बचाव के लिए ही सुरक्षित इंटरनेट दिवस का आयोजन किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि इस वर्ष, सुरक्षित इंटरनेट दिवस “टूगेदर फोर अ बेटर इंटरनेट“ अर्थात् “साथ मिलकर एक बेहतर इंटरनेट के लिए“ थीम के तहत मनाया जा रहा है। यह थीम एक ऐसे इंटरनेट समुदाय के निर्माण में सामूहिक कार्रवाई के महत्व पर प्रकाश डालती है जो सभी के लिए सुरक्षित, समावेशी और सशक्त है। उन्होंने कहा कि छात्र एवं युवा वर्ग ही वर्तमान में इंटरनेट के सबसे बडे़ उपभोक्ता हैं तथा वे साइबर अपराधियों के शिकार न बनें इसलिए साइबर सिक्योरिटी व सुरक्षित इंटरनेट उपयोग का विशेष ध्यान रखें। मुख्य विकास अधिकारी ने कहा कि हमें अपनी ऑनलाइन प्राईवेसी को उसी तरह से सुरक्षित रखना चाहिए जैसे हम ऑफ़लाइन स्वयं को सुरक्षित रखते हैं।
सुरक्षित इंटरनेट दिवस पर आयोजित कार्यशाला में जिला सूचना विज्ञान अधिकारी हेमंत मौर्य व उनकी एक्स्पर्ट्स की टीम ने कार्यशाला में उपस्थित व वर्चुअल माध्यम से जुडे जनपद के सभी अधिकारियों, कर्मचारियों व स्कूली छात्र-छात्राओं को सुरक्षित इंटरनेट के उपयोग की जानकारी दी साथ ही साइबर खतरों से बचाव हेतु जागरूक किया। जिला सूचना विज्ञान अधिकारी ने फिशिंग, विशिंग, स्मिशिंग, स्पैम मेल, स्पैम कॉल, साइबर अरेस्ट जैसे विभिन्न विषयों की विस्तृत जानकारी दी, उन्होंने दैनिक कार्यशैली में इंटरनेट की उपयोगिता बताते हुए सोशल नेटवर्किंग, शॉपिंग, ई-कॉमर्स, ई-पेमेंट्स के माध्यम से वित्तीय फ्रॉड से संबंधित फेक लॉटरी स्कैम, ओटीपी, पिन, शेयर में निवेश आदि की जानकारी लेने वाले कॉल या मैसेजेस से बचने के उपायों पर भी विस्तार से जानकारी दी साथ ही इस प्रकार के जोखिमों में लोगों को हुए वित्तीय संपदा के नुकसानों के बारे में भी जानकारी दी। उन्होंने कहा कि केवल विश्वसनीय स्रोतों से ही मोबाइल ऐप डाउनलोड करें तथा अपने मोबाइल ऐप्प पर अनावश्यक अनुमतियों को रद्द करें व अनुपयोगी ऐप को मोबाइल में न रखें साथ ही संवेदनशील लेन-देन जैसे बैंकिंग, कानून, स्वास्थ्य संबंधी जानकारी इत्यादि के लिए सार्वजनिक वाई-फाई का उपयोग न करें।
इस दौरान जिला सूचना विज्ञान अधिकारी हेमंत मौर्य, जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी उमाशंकर नेगी, ई-डिस्ट्रिक्ट मैनेजर जातवेद पांडेय, एक्सपर्ट टीम में अनिल शाक्य, देवी प्रसाद सिंह, हरीश पिलखवाल, अमित पांडे, अनिल कुमार, कलेक्ट्रेट के कर्मचारी, विद्यालयी छात्र-छात्राएं सहित वर्चुअल माध्यम से जनपद व ब्लॉक स्तरीय अधिकारी व कर्मचारी आदि उपस्थित थे।
———————————————–